
Chapter 36
अवि ने कुछ नहीं कहा क्योंकि वो ये सब नहीं कर पा रही थी। वो एकदम से खड़ी होते हुए बोली, आपको जो करना है कीजिए ना, मुझसे ये एक्सपेक्ट क्यों कर रहे हैं कि मैं आपको प्यार करूंगी? और प्यार कब से आपको चाहिए था? ये कहते हुए वो दूसरी तरफ खड़ी हो गई। तो सनक भी खड़े होते हुए बोला, ठीक है तो करने दो जो मैं कर रहा हूं। ये कहकर उसने दूसरा कांच उठाकर अपने दूसरे हाथों में लेने की कोशिश की, अपने हाथों में दबाने की कोशिश की। तो अवि फिर से उसका हाथ पकड़ कर बोली, आप अपना नुकसान कर रहे हैं मिस्टर रिग्रेट राजपूत। ये कहते हुए उसके दोनों हाथों को पकड़ कर खड़ी थी।





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